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Mantra Vidhya Vocabulary Shabdavli | कुछ जानने के योग्य शब्दावली | Yantra Vocabulary

कुछ जानने के योग्य शब्दावली


हिंदी में कई बार विशिष्ट शब्दों का प्रयोग किया जाता है।  कभी कभी इनका अर्थ समझने में परेशानी होती है विशेषकर जब मंत्र विज्ञान को समझना हो तो उसमें कुछ विशिष्ट शब्दावली दी जाती है जिसको जानने के लिए ये पोस्ट काफी महत्वपूर्ण है।


इसलिए हम आपको उनके अर्थ सहित जानकारी देते है। 


पंचांग - दूध , दही शहद , घी , और शक्कर को पंचांग कहा जाता है।

पंचोपचार - गंध , पुष्प , धूप , दीप , नैवेध इत्यादि को पंचोपचार कहते है।

दशांश - एक दशवा भाग।

षोडशोपचार  -  आसन , आहान , नैवैध , ताम्बूल , आचमन , पाधः , अधर्य , वस्त्र , सुगंध , अलंकार , अक्षत , दक्षिणा इत्यादि।

गंधत्रय  -  सिन्दूर , हल्दी , कुमकुम।

अस्टगंध  -  तगर , गोरोचन , कस्तूरी , चन्दन , केशर , सिन्दूर , लाल चन्दन , कपूर।


Mantra Vidhya Vocabulary Shabdavli  | कुछ जानने के योग्य शब्दावली | Yantra Vocabulary


यक्ष - कर्दम  -   चन्दन , कालीमिर्च , सोने का वर्क , कंडोल , अम्बर , हिंगुल , रक्तांजनी , केसर , कपूर, अगर। 

त्रिधातु -  सोना , लोहा और चांदी।

उपांशु - उपांशु उस जप को कहते है जो जपने पर केवल आप ही को सुनाई दे।

नैवेध - देवता को समर्पित की जाने वाला मिष्ठान।


उछिष्ट -  झूठन

नवगृह - सूर्य , बुध , ब्रस्पति , शनि , केतु , राहु , चन्द्रमा , मंगल और   शुक्र।

त्राटक - एकटक देखना

निमंत्रण - साधना से पहले देवता का आहान करना।

नवरत्न - माणिक्य , मोती , मूंगा , पन्ना , पुखराज , हीरा , नीलम , गोमेद और वैदूर्य इत्यादि।

मुद्रा - पूजा के समय हमारे शरीर की सिथति।

पंचधातु - ताम्बा , लोहा , चांदी , सोना और जस्ता।

पंचगव्य -  गौ मूत्र , गाय का गोबर , गऊ का दुग्ध , देसी गाय का घी व दही।

दशोपचार -  पूजन पाधः , अर्ध्य , मधुपर्क , आचमन , धूमवती , नैवैध , धुप , दीप , पुष्प , और गंध।


दशमहाविद्या -  तारा देवी , महा काली , धूमावती , बगला मुखी , त्रिपुरा भैरवी , छिन्नमस्ता , कमला , मातंगी, षोडशी  और भुवनेश्वरी।

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